tag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post4992154153463290653..comments2024-03-11T15:32:30.331+05:30Comments on मुसाफिर हूँ यारों: मैं कुल्लू चला गयानीरज मुसाफ़िरhttp://www.blogger.com/profile/10478684386833631758noreply@blogger.comBlogger23125tag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-48229387142059003542010-06-22T07:34:56.849+05:302010-06-22T07:34:56.849+05:30बहुत सुन्दरबहुत सुन्दरGyan Darpanhttps://www.blogger.com/profile/01835516927366814316noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-72948512879494287792010-06-16T10:13:16.289+05:302010-06-16T10:13:16.289+05:30इस रस्ते पर १५ घंटे ड्राइव करके मनाली पहुँचने का स...इस रस्ते पर १५ घंटे ड्राइव करके मनाली पहुँचने का सारा सफ़र फिर से याद आ गया । ये जगह सबसे खूबसूरत थी नदी के साथ साथ । सुन्दर तस्वीरें देखकर मज़ा आ गया ।डॉ टी एस दरालhttps://www.blogger.com/profile/16674553361981740487noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-3795632547581441182010-06-15T22:00:21.387+05:302010-06-15T22:00:21.387+05:30ब्यास नदी के साथ साथ सड़क मार्ग के नजारे बहुत खूबस...ब्यास नदी के साथ साथ सड़क मार्ग के नजारे बहुत खूबसूरत हैं इस रूट पर, यादें ताजा कर दीं,<br /> नीरज। अभी चित्र बहुत खूबसूरत लगे।संजय @ मो सम कौन...https://www.blogger.com/profile/14228941174553930859noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-48024328326391614152010-06-15T10:46:54.584+05:302010-06-15T10:46:54.584+05:30sahi kaha shastri ji ne
आपकी पोस्ट ने हमें भी कुल्...sahi kaha shastri ji ne<br />आपकी पोस्ट ने हमें भी कुल्लू घुमा दिया!संजय भास्कर https://www.blogger.com/profile/08195795661130888170noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-8018891897014034012010-06-15T10:46:54.585+05:302010-06-15T10:46:54.585+05:30वाह अच्छी लगी आपकी कुल्लू की तरफ यात्रा.वाह अच्छी लगी आपकी कुल्लू की तरफ यात्रा.संजय भास्कर https://www.blogger.com/profile/08195795661130888170noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-43526701174174650652010-06-14T22:04:23.389+05:302010-06-14T22:04:23.389+05:30आपकी पोस्ट ने हमें भी कुल्लू घुमा दिया!आपकी पोस्ट ने हमें भी कुल्लू घुमा दिया!डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'https://www.blogger.com/profile/09313147050002054907noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-38145094147323675252010-06-14T20:11:37.088+05:302010-06-14T20:11:37.088+05:30भय्यु! आपके जैसा जांबाज घुम्मर आज तक नहीं दिखा है....भय्यु! आपके जैसा जांबाज घुम्मर आज तक नहीं दिखा है. एक दम सही है. शानदार विवरण!Rajesh Srivastavaahttps://www.blogger.com/profile/14334618144308152689noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-67943063007721952172010-06-14T18:07:17.634+05:302010-06-14T18:07:17.634+05:30भाई थारी कितनी भी जय जय कार करूँ कम ही पड़ेगी...भय...भाई थारी कितनी भी जय जय कार करूँ कम ही पड़ेगी...भयानक गर्मी में कुल्लू की सैर करवा दी और क्या चाहिए? पंडोह डैम के फोटू ना दिखाए तमने? मुझे अपनी बीस साल पहले की गयी कुल्लू मनाली यात्रा याद हो आई...अगली किश्त जल्दी आन दे रे...सबर न होता इब...<br />आखरी फोटू में सड़क के बीचों बीच चल रहा बन्दा बिलकुल मारी तरह का दीख रहा है...या के चमत्कार है भाई?<br /><br />नीरजनीरज गोस्वामीhttps://www.blogger.com/profile/07783169049273015154noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-2688804815729385412010-06-14T13:49:43.852+05:302010-06-14T13:49:43.852+05:30भुंतर में ही एक हवाई -अड्डा भी है . पहले सिर्फ जैग...भुंतर में ही एक हवाई -अड्डा भी है . पहले सिर्फ जैग्सन एयर-वेज़ का छोटा सा जहाज़ उड़ता था दिल्ली से वहां तक वो भी सवारी पूरी हुई तो . छोटी सी टिकट खिड़की की झाड़ू-बुहारी और उसमें अगर-बत्ती जलाने का काम भी वही करता था जो टिकट काटता था , बल्कि कई बार पायलट को भी टिकट काटते देखा गया . कोई ज़ियादा नहीं ४ साल पहले तक ये हाल था . अब तो कई जहाज़ जाने लगे हैं मगर सड़क -मार्ग का अलग मज़ा है .मुनीश ( munish )https://www.blogger.com/profile/07300989830553584918noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-44779361685953867062010-06-14T12:02:54.634+05:302010-06-14T12:02:54.634+05:30ithe post flashed back me. i had visited the this ...ithe post flashed back me. i had visited the this route last year in April 2009.<br /><br />the Hanogee Mata Temple requires more attention . just one photo is not enough for a stunning temple.<br /><br />Situated in the lap of lofty mountaions, lush green , on the bank of Holi river Vyas and what more. this temple mesmerizes me . No urban commotion , just tranquility .Mrityunjay Kumar Raihttps://www.blogger.com/profile/16617062454375288188noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-64128418893654958652010-06-14T11:56:30.208+05:302010-06-14T11:56:30.208+05:30मै पापा, मम्मी के साथ पिछले साल अप्रैल में कुल्लू ...मै पापा, मम्मी के साथ पिछले साल अप्रैल में कुल्लू मनाली गया था . बहुत मजा आया था . तस्वीरें बहुत अच्छी है .सुरंग का सीन three idiots फिल्म के गाने में भी है . माता हणोगी मंदिर पर हम सभी रुके भी थे , पहाडो की सुरम्य घाटी के बीच व्यास नदी के किनारे, शांत नीरवता में बसी वो माता का मंदिर बहुत सुन्दर है . पोस्ट पढ़कर सारी यादे ताजा हो गयी , बहुत अच्छा , सुन्दर <br /><br />thanx for such a nice postमाधव( Madhav)https://www.blogger.com/profile/07993697625251806552noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-22272671412374383922010-06-14T11:41:44.333+05:302010-06-14T11:41:44.333+05:30बहुत सुन्दर ।बहुत सुन्दर ।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-14564342015846237412010-06-14T11:30:42.342+05:302010-06-14T11:30:42.342+05:30बहुत सुन्दर
चित्र देखकर यादें मुखर हो उठीबहुत सुन्दर <br />चित्र देखकर यादें मुखर हो उठीM VERMAhttps://www.blogger.com/profile/10122855925525653850noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-67374862574541743272010-06-14T10:53:37.012+05:302010-06-14T10:53:37.012+05:30माउंट आबू ही आ जाते नीरज भाई,माउंट आबू ही आ जाते नीरज भाई,कुशhttps://www.blogger.com/profile/04654390193678034280noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-66968736980574508832010-06-14T10:44:03.136+05:302010-06-14T10:44:03.136+05:30मजा आ गया. चित्र तो बेहद सुन्दर लगे. यात्रा वृत्ता...मजा आ गया. चित्र तो बेहद सुन्दर लगे. यात्रा वृत्तान्त भी. अब देखते हैं , कुल्लू में क्या गुल खिलता है.P.N. Subramanianhttps://www.blogger.com/profile/01420464521174227821noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-56439125805821633982010-06-14T10:44:03.137+05:302010-06-14T10:44:03.137+05:30ब्यास नदी बहुत विशाल है, बैजानथ जाते हुए सुजानपुर ...ब्यास नदी बहुत विशाल है, बैजानथ जाते हुए सुजानपुर में मैने इसके दर्शन किये थे. इसको देखते ही प्रकृति की ताकत का अंदाजा हो गया था.pryashttp://pryas.wordpress.comnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-18109394184325091752010-06-14T10:29:51.893+05:302010-06-14T10:29:51.893+05:30बहुत अच्छा किया...और सभी फोटो इतने सुन्दर और स्पष्...बहुत अच्छा किया...और सभी फोटो इतने सुन्दर और स्पष्ट है की मन मोह लिया.Sulabh Jaiswal "सुलभ"https://www.blogger.com/profile/11845899435736520995noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-19194698215921023642010-06-14T10:04:36.255+05:302010-06-14T10:04:36.255+05:30यार तुम कमाल के आदमी हो। इतना घूम चुके हो कि अब तो...यार तुम कमाल के आदमी हो। इतना घूम चुके हो कि अब तो तीन-चार किताबें छपवा सकते हो। लिखते तो शानदार और मज़दार हो ही।Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-73251256494953656652010-06-14T10:02:42.446+05:302010-06-14T10:02:42.446+05:30वाह मजेदार रहा कुल्लू आपके साथ घूमना, पुरानी यादें...वाह मजेदार रहा कुल्लू आपके साथ घूमना, पुरानी यादें ताजा हो आईं।विवेक रस्तोगीhttps://www.blogger.com/profile/01077993505906607655noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-19312176050235560522010-06-14T09:25:41.640+05:302010-06-14T09:25:41.640+05:30वाह भाई नीरज की...कमाल की तस्वीरें हैं..और आपकी वो...वाह भाई नीरज की...कमाल की तस्वीरें हैं..और आपकी वो बात भी मस्त लगी जो आपने उस आदमी को कही, विंडो सीट को लेकर ;) <br /><br />बहुत दिन बाद आपके ब्लॉग पे आया...बहुत अच्छा लगा :)abhihttps://www.blogger.com/profile/12954157755191063152noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-41174872417377685742010-06-14T09:23:43.828+05:302010-06-14T09:23:43.828+05:30वाह अच्छी लगी आपकी कुल्लू की तरफ यात्रा. वैसे मैं ...वाह अच्छी लगी आपकी कुल्लू की तरफ यात्रा. वैसे मैं हर तरह की यात्रा में यही Aisle (अंदर रास्ते के किनारे वाली सीट) ही पसंद करता हूं क्योंकि इन सीटों पर हाथ-पांव फैलाने की सुविधा रहती है फिर उठना चाहें तो, जब जी चाहे, आपकी मर्ज़ी. पागल था वह जो खिड़की के लिए झगड़ रहा था. मेरे लिए तो खिड़की माने भिंच कर बैठना, धुआं, लू, धूप...Kajal Kumar's Cartoons काजल कुमार के कार्टूनhttps://www.blogger.com/profile/12838561353574058176noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-71706558502126981802010-06-14T09:13:20.719+05:302010-06-14T09:13:20.719+05:30मनाली तो मेरी फेवरेट जगह है..
खिडकी वाली सीट के ...मनाली तो मेरी फेवरेट जगह है.. <br /><br />खिडकी वाली सीट के लिए दो दो हाथ करने भी पड़े तो... कोई गम नहीं...रंजनhttp://aadityaranjan.blogspot.com/noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-1291960956767275756.post-30037298073960328362010-06-14T08:43:24.681+05:302010-06-14T08:43:24.681+05:30बहुत सुन्दर फोटो हैं।
घुघूती बासूतीबहुत सुन्दर फोटो हैं।<br />घुघूती बासूतीghughutibasutihttps://www.blogger.com/profile/06098260346298529829noreply@blogger.com